लखनऊ ब्यूरो (राज प्रताप सिंह) :: मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने जिलाधिकारियों को निर्देश दिया है कि बाढ़ पीड़ितों को समय से राहत पहुंचाया जाए। यह जानकारी मंगलवार को पत्रकारों से बातचीत में पिछड़ा वर्ग कल्याण एवं दिव्यांगजन सशक्तिकरण मंत्री अनिल राजभर ने दी। उन्होंने बताया कि प्रदेश के सभी तटबंध सुरक्षित हैं। उन्होंने बताया कि मुख्यमंत्री ने कहा है कि बाढ़ राहत का काम सरकार की उच्च प्राथमिकताओं में है। इसके लिए बजट की कोई भी कमी नहीं है।
मुख्यमंत्री ने जल बहाव के कटान से प्रभावित भूमि के समीप स्थित स्कूल व पंचायत भवनों में बाढ़ प्रभावित व्यक्तियों के लिए शरणालय न बनाने के निर्देश दिए हैं। बाढ़ से प्रभावित जिलों में पशुओं के चारे-भूसे की उचित व्यवस्था करने के साथ-साथ पशु टीकाकरण का कार्यक्रम समय से पूर्ण कराने के निर्देश दिए गए। उन्होंने बताया कि प्रदेश में वर्तमान में सभी तटबंध सुरक्षित है। कहीं भी किसी प्रकार की चिंताजनक परिस्थिति नहीं है। प्रदेश के बाढ़ प्रभावित जिलों में सर्च एवं रेस्क्यू के लिए कुल 22 टीमें लगाई गई हैं। उन्होंने बताया बाढ़ पीड़ित परिवारों को खाद्यान्न किट का वितरण कराया जा रहा है।
बाढ़ आपदा से निपटने के लिए प्रदेश में 331 बाढ़ शरणालय और 748 बाढ़ चौकियां स्थापित की गई है। वर्तमान में प्रदेश के 16 जिलों के 838 गांवों बाढ़ से प्रभावित है। शारदा नदी, पलिया कला (लखीमपुरखीरी), सरयू (घाघरा) नदी, तुर्तीपार (बलिया), सरयू (घाघरा) नदी एल्गिनब्रिज (बाराबंकी) तथा सरयू (घाघरा) नदी (अयोध्या) खतरे के निशान से ऊपर बह रही है।