विक्रम (बिक्कु कुमार का रिपोर्ट) : लॉक डाउन की वजह से पटना के ग्रामीण इलाके विक्रम नौबतपुर और दुल्हिन बाजार के मालाकार किसान काफी प्रभावित हुए हैं। लॉक डाउन के कारण मंदिर शादी समारोह जैसे कार्यक्रम बंद होने के कारण फूलों की बिक्री बंद है। ऐसे में कर्ज लेकर फूलों की खेती करने वाले किसानों की कमर टूट गई है। किसानों का कहना है कि कर्ज लौटाना तो दूर अब भुखमरी जैसी स्थिति होती जा रही है।
- पुलिस दंपती सब इंस्पेक्टर अनूप मिश्रा और रीना पाण्डेय ‘हिंदुस्तान हस्तशिल्प महोत्सव’ में हुए सम्मानित
- पल्स पोलियो अभियान 21 तक, एक भी बच्चा छूटे नहीं – सिविल सर्जन दरभंगा
- दरभंगा AIIMS भूमि अधिग्रहण मामले में नहीं दिया नोटिस, मुआवजा भी नहीं मिला
- शोभन बाईपास में एम्स निर्माण सीएम नीतीश की दुरगामी सोच – राजेश्वर राणा
- इंस्पिरेशन इम्पैक्ट अवार्ड से सम्मानित हुए एसआई अनूप मिश्रा अपूर्व
तीसरी बार लॉक डाउन में कई कार्यो के लिए छूट दी गई है लेकिन फूल की खेती करने वाले किसानों के लिए सरकार ने कोई छूट नहीं दी है। जिसके बाजार में फूलों की मांग बिल्कुल नहीं है। किसानों की मांग है कि सरकार उन्हें भी कुछ छूट दे ताकि उनके फूल बिक सके।
किसान चिंतित
किसानों की चिंता है कि उनका परिवार कैसे चलेगा अगर ऐसा हाल रहा तो आने वाले समय में भुखमरी की स्थिति हो जाएगी।
बता दें कि लॉक डाउन के दौरान सभी धार्मिक स्थल और कार्यक्रम बंद कर दिए गए हैं। यहां तक कि शादी विवाह में भी ज्यादा भीड़ और सजावट पर रोक लगा दी गई है जिसके बाद से फूलों की खेती करने वाले किसान काफी प्रभावित हुए हैं किसानों की चिंता है कि उनका परिवार कैसे चलेगा। अगर ऐसा हाल रहा तो आने वाले समय में भुखमरी की स्थिति हो जाएगी।
सरकार से आस
फूलों की खेती करने वाले किसान धर्मवीर और सुरेश भगत बताते हैं कि कर्ज लेकर दूसरे से खेत लिया था और फूलों की खेती की थी उम्मीद थी कि फूलों की अच्छी बिक्री होगी और कर्ज चुकाने के साथ साथ कुछ कमाई भी होगी लेकिन करोना वायरस के कारण हुए लॉक डाउन ने सब कुछ बर्बाद कर दिया। किसान अब सरकार से आस लगाए बैठे हैं वे सरकार से मुआवजे की मांग कर रहे हैं