(राज प्रताप सिंह) : भाजपा की जमीन पर जीत के गरजते बादलों से दिन भर वोटों की बारिश होती रही। जब शाम ढली और विजयरथ पर सवार नरेंद्र मोदी भाजपा मुख्यालय पहुंचे तो उनका स्वागत मेघों ने असल में बरस कर किया। अमित शाह के बाद जब पीएम मोदी ने संबोधन शुरू किया तो हजारों कार्यकर्ताओं से भरा प्रांगण मोदी-मोदी के नारों से गूंज उठा।
पीएम ने कहा आज स्वयं मेघराज भी इस विजयोत्सव में शरीक होने के लिए हमारे बीच हैं। 2019 लोकसभा के चुनाव में हम सब देशवासियों के पास नए भारत के लिए जनादेश लेने गए थे। आज हम देख रहे हैं कि देश के कोटि-कोटि नागरिकों ने इस फकीर की झोली को भर दिया है।मैं जनता से वादा करता हूं कि बदनीयत से कोई काम नहीं करूंगा।सरकार बहुमत से बनती है, देश सर्वमत से चलता है।वो पन्ना प्रमुख की ताकत का मजाक उड़ाते थे। अब वो देख सकते हैं कि पन्ना प्रमुख की ताकत और महत्व क्या होता है।
चाहकर भी हमारे ऊपर विपक्ष भ्रष्टाचार का आरोप नहीं लगा पाया।
जब महाभारत का युद्ध समाप्त हुआ तब श्री कृष्ण पूछा गया कि आप किसके पक्ष में थे, मैं समझता हूं कि जो भगवान कृष्ण ने जो जवाब दिया था 2019 चुनाव में, हिंदुस्तान के 130 करोड़ नागरिकों ने श्रीकृष्ण के रूप में जवाब दिया है। उन्होंने जवाब दिया था कि मैं किसी के पक्ष में नहीं था। उन्होंने कहा था कि मैं हस्तिनापुर के पक्ष में था।पूरे विश्व की ये सबसे बड़ी घटना है, देश आजाद हुआ, कितने लोकसभा के चुनाव हुए, सबसे अधिक मतदान इस चुनाव में हुआ। वो भी 40-42 डिग्री गर्मी के बीच में।देश के सामान्य नागरिक की भावना भारत के उज्जवल भविष्य की गारंटी है। इस चुनाव में मैं पहले दिन से कह रहा था कि चुनाव कोई दल नहीं लड़ रहा, कोई उम्मीदवार, नेता नहीं लड़ रहा है, ये चुनाव देश की जनता लड़ रही है।
- अखिल भारतीय कायस्थ महासभा की राष्ट्रीय कार्यकारिणी में राजेंद्र कर्ण मनोनीत
- एडीएम नीरज दास की अध्यक्षता में जिला स्थापना दिवस को लेकर बैठक
- जेडीयू नेता राजेश्वर राणा ने तेजस्वी यादव की घोषणा पर बोला हमला
- 2025 में जनगणना, बिहार में तैयारी शुरू
- अपने घरों तक रास्ता से वंचित परिवारों से मिले जेडीयू नेता राजेश्वर राणा, भगता बांध पर सड़क निर्माण का दिए आश्वासन
आज मेरी उस भावना को जनता जनार्दन ने प्रकट कर दिया है इसलिए अगर कोई विजयी हुआ है तो हिंदुस्तान विजयी हुई है, लोकतंत्र विजयी हुआ है, जनता विजयी हुई है। इस पार्टी में ऐसे दिलदार लोग हैं, कोटि कोटि कार्यकर्ता, सिर्फ एक ही भाव, भारत माता की जय..और कुछ नहीं। निस्वार्थ भाव से काम किया। जाति के नाम पर खेल खेलने वालों पर इस चुनाव में बहुत बड़ा प्रहार हुआ है। भारत की एक जाति है गरीब, दूसरी जाति है देश को गरीबी से मुक्त कराने के लिए अपना योगदान देने की।