बहुत कम क्रिकेटर ऐसे होते हैं जो बेहद कम उम्र में ही नाम, दौलत और शोहरत हासिल कर लेते हैं। ऐसे ही खिलाड़ी थे इरफान पठान। बड़ौदा के बेहद साधारण परिवार में जन्मा यह खिलाड़ी विपरित हालातों को चुनौती देते हुए महज 19 साल की उम्र में टीम इंडिया के लिए डेब्यू करता है। शनिवार यानी चार जनवरी की शाम अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट को अलविदा कहने वाले इरफान को जितनी जल्दी कामयाबी मिली वह उतनी जल्दी ही अपनी चमक बिखेरकर ओझल भी हो गए।
इरफान पठान ने सभी का ध्यान अपनी तरफ उस वक्त खींचा जब एशिया अंडर-19 क्रिकेट टूर्नामेंट में उन्होंने पाकिस्तान के खिलाफ एक ही पारी में 9 विकेट हासिल किए। इसके बाद इरफान को राष्ट्रीय टीम में जगह मिल गई। इरफान का पहला दौरा ऑस्ट्रेलिया का था।
साल 2003 में ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ डेब्यू के दौरान वह महज 19 साल के थे। एडिलेड टेस्ट में पदार्पण करते हुए उन्होंने गिलक्रिस्ट और हेडन जैसे खतरनाक बल्लेबाजों को पानी पिलाया था। मैच में भारत को जीत हासिल हुई। सीरीज में इरफान ने अपने चयन को सही साबित किया। साल 2006 तक पठान राष्ट्रीय टीम का नियमित हिस्सा रहे।