दरभंगा : एम. एल. एस. एम. महाविद्यालय दरभंगा के पूर्व परिषद सदस्य चैतन्य झा ने बिहार अन्तर-स्नातक (ग्यारहवीं) के छात्रों को नामांकन के दौरान हो रही परेशानी के मद्देनजर बिहार विद्यालय परीक्षा समिति के अध्यक्ष आनंद किशोर को पत्र लिखा।
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पत्र में चैतन्य झा ने लिखा कि बिहार राज्य में कोरोना महामारी अपने चरम पर है,और इसी बीच बिहार बोर्ड के द्वारा इंटरमीडिएट में नामांकन हेतु मेधा सूची प्रकाशित कर दी गई है। जिसमें एक निश्चित समायवधि में छात्रों को नामांकन लेने की अनुमति दी गई है, जिस कारण विद्यालयों/महाविद्यालयों में भारी संख्या में छात्र पहुँच रहें है।
न तो ढंग से सोशल-डिस्टेंसिंग का पालन होता है और न ही शिक्षण संस्थानों के पास कोरोना से बचाव हेतु एवं संक्रमितों की पहचान करने हेतु कोई उचित व्यवस्था है। जिस वजह से नामांकन करवाने आए छात्रों में संक्रमण का अत्यधिक खतरा है।
वहीं दूसरी ओर कुछ सुदूर देहात से आनेवाले ऐसे गरीब छात्र जो महाविद्यालय आने के लिए सार्वजनिक परिवहन का इस्तेमाल करते हैं वे लॉकडॉन की वजह से महाविद्यालय आने मे भी असमर्थ हैं। ऐसी स्थिति में छात्रों को एक साल बर्बाद होने का डर भी सता रहा है,जिससे छात्र मानसिक दवाब महसूस कर रहे हैं।
छात्र नेता चैतन्य झा ने कहा कि एक ओर बिहार सरकार लॉकडाउन का दिखावा कर रही है और दूसरी ओर नौनिहालों के जीवन के साथ खिलवाड़ कर रही है। उन्होंने बीएसईबी के चेयरमैन आनंद किशोर एवं बिहार के मुख्यमंत्री,शिक्षामंत्री एवं पत्र लिखते हुए कहा कि विषयवस्तु की गंभीरता को समझते हुए सरकार को जल्द से जल्द मामले को संज्ञान में लेना चाहिए और छात्रहित में तत्काल आदेश जारी कर नामांकन की प्रक्रिया को या तो कुछ दिनों तक स्थगित किया जाना चाहिए अथवा नामांकन की प्रक्रिया को ऑनलाइन माध्यम से करवाना चाहिए।