पटना (संजय कुमार मुनचुन) : बिहार के पूर्व क्रिकेटरो का एक प्रतिनिधी मंडल बिहार के डीजीपी गुप्तेशवर पांडेय तथा होम सेक्रेटरी अमीर सुबहानी से मिल कर पिछले 20 फरवरी को न्यूज चैनल पर बिहार क्रिकेट एसोसियेसन के पदाधिकारीयों के दूारा पैसे के खातिर खिलाड़ियों को बिहार से खेलाने के लिए मोल भाव करते हुए पुरे विश्व क्रिकेट के लोगों ने देखा था । इस तरह के घटना से पुरे बिहार के खेल प्रेमीयो को शर्मसार होना पड़ा है ।
अधिकारियों को बताया गया कि बिहार क्रिकेट की वापसी 18 सालो के संघर्ष के पश्चात सुप्रीम कोर्ट ने अपने आदेश मे 4 जनवरी 18 को बीसीसीआई को निर्देश दिया था कि बिहार को नजरअंदाज मत करो 2018 से बिहार को पूर्ण मान्यता देते हुए प्रथम श्रेणी का मैच खेलाने का आदेश दिया था । पैसे के लालच मे बीसीए के वर्तमान सचिव एवं उनके दलालो ने बिहार के क्रिकेटरो का सत्यानाश कर बाहरी खिलाड़ियों से पैसा ले कर बिहार मे जाली प्रमाण पत्र बनवा कर पिछले दरवाजे से बिहार क्रिकेट टीम मे शामिल कराने का काम किया जा रहा है । बिहार सरकार अपने स्तर से जॉच समिति बना कर जॉच करा के दोषीयो को सजा दे। बिहार सरकार के दोनो अॉफिसर को बताया गया कि पुरे घटना पर पटना जिला के गॉधी मैदान थाना मे दोषीयो के खिलाफ एफआईआऱ 23 फरवरी को दर्ज करने के लिए आलमगीर ने आवेदन दिया है ।
प्रतिनिधी मंडल में आदित्य वर्मा, सौरव, मनीष ओझा, आलमगीर, तथा बिहार रंजी टीम के पूर्व कप्तान सुनील कुमार शामिल थे।