डेस्क : लोकसभा चुनाव के नतीजों के बाद हुए मंत्रीपद बंटवारे से नाखुश जेडीयू लगता है बीजेपी को माफ करने के मूड में नहीं है.
रविवार को इसकी एक और बानगी देखने को मिली. हुआ ये कि बिजेपी की इफ्तार पार्टी में जेडीयू का कोई भी नेता शामिल नहीं हुआ. हालांकि मीडिया ने जेडीयू की गैरहाजिरी पर सवाल किए तो बीजेपी इन सवालों को टालती नजर आई.
बीजेपी भी कहां कम है उसने भी जेडीयू को वहीं तेवर दिखाए और जेडीयू की इफ्तार पार्टी में बीजेपी के किसी भी नेता ने शिरकत नहीं की.
वहीं उपमुख्यमंत्री सुशील मोदी ने कहा कि इफ्तार का कोई राजनीतिक मतलब नहीं निकालना चाहिए. यह मूलरूप से धार्मिक आयोजन है.
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सुशील मोदी ने कहा कि सभी जगह एक साथ आयोजन होने से असुविधा हुई. सोमवार को लोजपा की इफ्तार पार्टी में एनडीए के सभी नेता एक साथ शामिल होंगे.