मधुबनी : झंझारपुर थाना क्षेत्र के एक गांव में नाबालिग के साथ गैंगरेप का मामला सामने आया है। चार युवकों ने बेहोश कर पूरी रात घटना को अंजाम दिया और मरा हुआ समझ कर सुबह में उसके ही गोइठा घर में फेंक दिया। पीड़िता के पिता के आवेदन पर चार युवकों पर एफआईआर दर्ज की गई है। पीड़िता को मेडिकल जांच के लिए सोमवार की रात मधुबनी भेजा गया। मंगलवार को 164 का बयान दर्ज कराया गया।
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डीएसपी आशीष आनंद ने मंगलवार को पीड़िता एवं उनके परिजनों से पूछताछ की। घटना 13 अगस्त की रात की बताई गई है, जबकि थाने में आवेदन 16 अगस्त को दिया गया है। प्रशिक्षु डीएसपी सह थानाध्यक्ष नेहा कुमारी ने बताया कि 16 अगस्त को ही आवेदन के आलोक में प्राथमिकी दर्ज की गई है।
दर्ज प्राथमिकी में कहा गया है कि 16 वर्षीय लड़की जब 13 अगस्त की रात अपने घर से सटे बारी स्थित चापाकल पर थाली धोने के लिए गई थी तो घात लगाए चार युवकों ने उसका अपहरण कर लिया। चापाकल से ही एक ने मुंह दबाया, दो ने हाथ पकड़ा और चौथे ने बेहोशी की सूई लगा दी। रात भर लड़की गायब रही। सुबह मरणासन्न स्थिति में गोइठा घर के एस्बेस्टस पर बेहोश अवस्था में मिली। तत्काल पिता उसे अनुमंडल अस्पताल ले गए, जहां होश में आने के बाद लड़की ने रात में अपने साथ हुई आपबीती बतायी।
उसके बताने के अनुसार गांव के सुनील भंडारी (25), सुशील भंडारी (25) प्रदीप कुमार कामत (26) एवं सुरेंद्र कुमार भंडारी (21) को एफआईआर में नामजद किया गया है। एफआईआर में बताया है कि लड़की का गला दबाया गया था, जिसके कारण वह ठीक से बोल नहीं पा रही है। लिखकर और इशारा कर उसने अपने साथ हुई घटना को बयां किया।
डीएसपी आशीष आनंद ने कहा कि 376डी, 366 पॉक्सो अधिनियम सहित अन्य धाराओं में एफआईआर दर्ज की गई है। मेडिकल रिपोर्ट आने के बाद और अनुसंधान के बाद गैंगरेप की पुष्टि की बात कही जा सकती है। उन्होंने यह भी बताया कि नामजद लोगों से पीड़िता के घर वाले की पुरानी पहचान है। नामजदों में एक सुशील कुमार पीड़िता के भाई का दोस्त भी बताया गया है। इसी वर्ष अप्रैल में सुशील उक्त लड़की को अपने साथ ले जाकर एक होटल में छोड़ दिया था, जिसके बाद पंचायत हुई थी। फिर यह घटना हुई है। सभी बिंदुओं पर जांच की जा रही है। उचित कानूनी कार्रवाई होगी और पीड़िता को न्याय मिलेगा।