Breaking News

झोलाछाप डॉक्टरों का फैला मकरजाल, अवैध वसूली के साथ मरीजों की जान से भी खिलवाड़

माल लखनऊ (रामकिशोर रावत) : माल इलाके में अवैध झोलाछाप डॉक्टरों का मकड़जाल पूरे इलाके में फैला हुआ है । झोलाछाप डॉक्टरों द्वारा पूरे इलाके में पूरी तरह से सक्रिय होते जा रहे हैं। इलाके की भोली भाली जनता को इलाज के नाम पर मनमाने तरीके से पैसा वसूलते हैं। जबकि ग्रामीण इलाके में नौजवानों बच्चे बूढ़े के स्वास्थ्य के साथ खुलेआम खिलवाड़ किया जा रहा है।

प्रतीकात्मक तस्वीर

स्वास्थ्य विभाग के जिम्मेदार अधिकारी इन झोलाछाप डॉक्टरों को बचाने में लगे रहते है। माल इलाके के नबीपनाह गहदो गौरैया शेखवापुर आबित नगर अटारी रहटा सैदापुर माल बरगदिया बीरपुर जगदीशपुर सहित इलाके में दर्जनों गांव के डॉक्टरों पर स्वास्थ्य विभाग द्वारा कोई कार्यवाही नहीं की जा रही है। जिससे इन झोलाछाप डॉक्टरों द्वारा मरीजों को स्वयं की दवाइयां मांहगे दामों पर दी जाती है। जिसका मरीजों को कोई लाभ नहीं मिल पाता है। इन झोलाछाप डॉक्टरों के चंगुल में फंस कर कई लोग तो काल के गाल में समा चुके हैं ।

जबकि इन झोलाछाप डॉक्टरों द्वारा गर्भवती महिलाओं को मुख्य निशाना बनाते हैं ।जिनसे डिलीवरी व गर्भपात के नाम पर अपनी मनमानी तरीके से महिलाओं से पैसा वसूला जाता हैरान।इन डॉक्टरों के पास न कोई डिग्री और न कोई स्वास्थ संबंधित सुविधा उपलब्ध नहीं होती है। इन झोलाछाप डॉक्टरों द्वारा ग्रामीण इलाके की जनता को बड़ी बीमारी बता कर जनता से मनचाहे तरीके से हजारों रुपए वसूले जाते हैं। इन डॉक्टरों के यहां नकली कंपनियों की दवाइयां एंटीबायोटिक दवाइयां मोटी रकम लेकर मरीजों को दी जाती है। इलाके के ग्रामीणों द्वारा इन झोलाछाप डॉक्टरों के खिलाफ कई बार लिखित शिकायत करते है। लेकिन नतीजा जीरो ही मिला। अगर स्वास्थ्य विभाग के जिम्मेदार अधिकारी समय रहते इन झोलाछाप डॉक्टरों के खिलाफ कोई कार्यवाही नहीं की गई तो किसी भी समय मरीजों को बड़ी मुसीबतों का सामना करना पड़ सकता है। जबकि लगभग 2 वर्ष पूर्व में आठ झोलाछाप डॉक्टरों के यहां छापेमारी की गई थी ।जिन डॉक्टरों के पास न कोई क्लीनिक का रजिस्ट्रेशन मिला था न ही कोई डिग्री थी इसके बाद भी उनके खिलाफ कार्यवाही करना उचित नहीं समझा।

ऐसा लगता है कि स्वास्थ्य विभाग द्वारा इन झोलाछाप डॉक्टरों को संरक्षण प्रदान किया जा रहा है । इन झोलाछाप क्लीनिकों के यहां दर्जनों मरीजों की भीड़ लगी रहती है। इनको सिर्फ पैसे से लेना देना रहता है न की मारीज के लाभ होने से आखिर क्या वजह है कि स्वास्थ्य विभाग के जिम्मेदार अधिकारी कार्यवाही करने से कतराते हुए नजर आ रहे हैं। सूत्रों की माने तो इन झोलाछाप डॉक्टरों द्वारा महीने में सुविधा शुल्क दिया जाता है इसीलिए स्वास्थ्य विभाग के जिम्मेदार अधिकारी कार्यवाही करने से पीछे हटते नजर आ रहे हैं। ऐसा लगता है कि स्वास्थ्य विभाग के जिम्मेदार छापेमारी करने के बाद सिर्फ सुविधा शुल्क वसूल कर अपनी जेबे भरने का काम करते हैं छापेमारी करने के बाद भी माल क्षेत्र में एक भी झोलाछाप का क्लीनिक बंद नहीं कराया जा सका जिसके चलते झोलाछाप डॉक्टरों के हौसले बुलंद होते देखे जा रहे हैं क्षेत्र की भोली-भाली जनता को ठगने का काम कर रहे हैं।

पढ़े यह भी खबर

    Check Also

    चंबल वैली में मैराथन प्रतियोगिता का होगा विशाल आयोजन

    -कभी दस्यु सम्राटों की रही क्रीड़ा स्थली अब प्रतिभागियों की बनेगी क्रीडा स्थली -चंबल वैली …

    विश्व हिंदी दिवस 2021: हिंदी को राष्ट्रभाषा बनाने के लिए इन महान साहित्यकार ने किया था संघर्ष

    -10 जनवरी को विश्व हिंदी दिवस के रूप में मनाया जाता है। भारत के तत्कालीन …

    अब पेट्रोल पंपों से भी मिलेगा “छोटू” सिलेंडर

    – छोटे उपयोगकर्ताओं के लिए कम कम औपचारिकता का कनेक्शन– 5 किलो वाला एलपीजी सिलेंडर …

    Leave a Reply

    Your email address will not be published. Required fields are marked *