Breaking News

सड़क किनारे लगे जगह जगह कूड़ो के ढेर से ग्रामीण जनता त्रस्त

निगोहा / लखनऊ (सूरज अवस्थी) : जहां एक तरफ सरकार द्वारा स्वच्छ भारत मिशन के तहत सर्वत्र स्वच्छता अभियान चलाकर साफ-सफाई की व्यवस्था दुरुस्त करने के लिए आमजन को जागरूक किया जा रहा है , वहीं ग्रामों में नियुक्त सफाई कर्मी अपने कर्तव्य के प्रति लापरवाह बने हुए हैं।

इसके चलते गांव में कूड़े का अंबार और गंदगी का साम्राज्य स्थापित है। इसकी वानगी मोहनलालगंज तहसील के निगोहा थाना क्षेत्र के ग्राम सभा मीरक नगर के प्राइमरी विद्यालय के बगल में तालाब की जमीन में देखने को मिल रही है, जहां तालाब और संपर्क मार्ग कूड़े के ढेर के रूप में तब्दील हो गए हैं। ग्रामीणों के मुताबिक स्कूल के बगल में तालाब होने की वजह से होने वाले आगामी बारिश से बारिश का पानी जमा होकर इकट्ठा हुआ कूड़ा बारिश में पूरी तरीके से उसी में बज बजाता रहता है , जिसमें बहुत ही बुरी तरीके से दुर्गंध आती है , विद्यालय में आए हुए नौनिहालों को सांस लेने में दिक्कतों का सामना करना पड़ता है , ग्रामीणों ने बताया कि साफ- सफाई के लिए ग्राम में सफाई कर्मी की तैनाती तो है, लेकिन सफाई कर्मी द्वारा नियमित रूप से साफ- सफाई नहीं की जाती।उन्होंने बताया कि सफाई कर्मी ग्राम में नहीं आता।

केवल कागजों में खानापूरी की जा रही है। जिसके चलते पूरे ग्राम में गंदगी व्याप्त है। ग्राम के मार्ग के किनारे कूड़े का अंबार लगा हुआ है। मार्ग से गुजरते समय लोगों को गंदगी के दुर्गंध से घोर कठिनाई का सामना करना पड़ रहा है। इसके चलते स्वास्थ्य पर प्रतिकूल प्रभाव पड़ रहा है। साथ ही संक्रामक रोगों के प्रकोप की संभावना बढ़ गई है। मोहनलालगंज तहसील क्षेत्र के दर्जनों गांव निगोहा ,करनपुर , मीरक नगर, कांटा करौंदी, रामदासपुर , बघौना , नंदोली आदि दर्जनों गांव कूड़े के आगोश में समाए हुए हैं जहां गांव में घुसते ही आपको कूड़े का अंबार लगा हुआ दिखाई दे जाएगा l

Check Also

सब इंस्पेक्टर अनूप मिश्रा अपूर्व ने कोरोना योद्धा के रूप में फोटो जर्नलिस्ट साथियों का किया सम्मान

लखनऊ । कोरोना महामारी में लोगों जरूरतमंद लोगों को निःशुल्क चिकत्सीय सुविधा दिलवाने के उद्देश्य …

चंबल वैली में मैराथन प्रतियोगिता का होगा विशाल आयोजन

-कभी दस्यु सम्राटों की रही क्रीड़ा स्थली अब प्रतिभागियों की बनेगी क्रीडा स्थली -चंबल वैली …

विश्व हिंदी दिवस 2021: हिंदी को राष्ट्रभाषा बनाने के लिए इन महान साहित्यकार ने किया था संघर्ष

-10 जनवरी को विश्व हिंदी दिवस के रूप में मनाया जाता है। भारत के तत्कालीन …